कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद पर FIR का आदेश – फर्जी दस्तावेजों से कॉलेज मान्यता का मामला

भोपाल| मध्‍यप्रदेश में कांग्रेस विधायक के कॉलेज को लेकर बवाल मचा गया। दरअसल, हाईकोर्ट ने उन पर एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए। इस निर्देश से पहले ये मामला सदन में भी गूंजा था। अब इस मामले में एफआईआर के निर्देश के बाद एक बार फिर सियासत शुरू हो गई। बीजेपी, कांग्रेस से बयान भी सामने आए। देखिए भोपाल से हमारी ये रिपोर्ट…

⦁ कॉलेज पर बवाल…अब होगी FIR
⦁ कांग्रेस MLA आरिफ मसूद पर FIR!
⦁ हाईकोर्ट के निर्देश पर सियासत बयान
⦁ फर्जी दस्‍तावेजों से कॉलेज की मान्यता का केस
⦁ बीजेपी, कांग्रेस का बयान…जांच में होगा खुलासा

राजधानी के खानूगांव में कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद इंदिरा प्रियदर्शनी कॉलेज का संचालन अमन एजुकेशन सोसाइटी के तहत करते। उनके कॉलेज को लेकर पूर्व विधायक ध्रुवनारायण सिंह ने शिकायत की थी। जांच के बाद आयुक्त उच्च शिक्षा ने माना कि अमन एजुकेशन सोसायटी ने इंदिरा प्रियदर्शनी कॉलेज के संचालन के लिए फर्जी दस्तावेजों पर एनओसी और मान्यता ली। इसके बाद कॉलेज की मान्यता रद्द की गई।

अब इस मामले में जबलपुर हाईकोर्ट ने कांग्रेस विधायक आरिफ मसूद के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के निर्देश दिए। भोपाल कमिश्नर तीन दिन में एफआईआर दर्ज कर जानकारी कोर्ट को देंगे। साथ ही इस मामले पर हाईकोर्ट ने आरिफ मसूद के इंदिरा प्रियदर्शनी कॉलेज में नए दाखिलों पर पूरी तरह से रोक लगा दी।

इस मामले में कांग्रेस प्रवक्ता आनंद जाट ने कहा कि “हम भी चाहते हैं जांच होनी चाहिए।”
तो वहीं आरिफ मसूद भी कह चुके हैं कि “हम जांच के लिए तैयार हैं जांच होगी तो सच्चाई सबके सामने आएगी।”

हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को आदेश दिए कि इस पूरे मामले की अब एसआईटी जांच करेगी। एडीजी संजीव शमी के नेतृत्व में तीन सदस्यीय टीम जांच करेगी। 90 दिन में एसआईटी अपनी जांच रिपोर्ट पेश करेगी। इस मामले में कांग्रेस ने जांच का समर्थन किया। बीजेपी ने भी जांच की बात को कहा। बीजेपी विधायक रामेश्वर शर्मा ने कहा कि न्यायपालिका का आदेश का पालन करना होगा। न्यायपालिका जो आदेश होगा उस पर की कार्रवाई की जाएगी।

कांग्रेस विधायक का कॉलेज है और शिकायत करने वाले पूर्व बीजेपी विधायक ध्रुवनारायण सिंह । ऐसे में इसे राजनीति से प्रेरित बताया जा रहा। क्‍योंकि आरिफ मसूद ध्रुवनारायण सिंह के खिलाफ चुनाव लड़े और जीते भी। लेकिन अब मामला कोर्ट तक पहुंच गया। इसलिए कोई भी राजनेता इसमें राजनीति करने से बच रहा है।

 

MANOJ RATHORE, BSTV, BHOPAL

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