MP में रिन्यूएबल एनर्जी में बड़ा निवेश, अवाडा ग्रुप ने दिया 5 हजार करोड़ रूपये इन्वेस्ट करने का प्रस्ताव

भोपाल। गुजरात की राजधानी गांधीनगर में तीन दिवसीय ग्लोबल रिन्यूएबल एनर्जी इन्वेस्टर्स मीट का आयोजन हुआ। इस मीट में मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव भी शामिल हुए। सीएम ने यहां उद्योगपतियों से वन-टू-वन चर्चा की। इस दौरान कई बड़ी कंपनियों ने प्रदेश में इन्वेस्ट करने में रूचि दिखाई। इसी क्रम में अवाडा ग्रुप ने प्रदेश में 5 हजार करोड़ रुपये के निवेश का प्रस्ताव भेजा। (Chief Minister Dr. Mohan Yadav)

विंड पावर एसोसिएशन ने मुख्यमंत्री डॉ. यादव से सोलर पार्क की तर्ज पर विंड पार्क विकसित किए जाने का अनुरोध किया। टॉरेंट पॉवर द्वारा प्रदेश में पम्प हाइड्रो स्टोरेज परियोजनाओं के विकास हेतु नीति शीघ्र जारी करने का अनुरोध किया। वहीं, सैम्ब्कार्प ग्रुप की ओर से प्रदेश में प्रस्तावित मुरैना तथा नीमच सौर परियोजना में निवेश हेतु रुचि व्यक्त की गई। रिन्यू पावर द्वारा भी प्रदेश में लगभग 6000 करोड़ रूपये के निवेश हेतु रुचि व्यक्त की गई। (Chief Minister Dr. Mohan Yadav)

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सुजलॉन एनर्जी द्वारा प्रदेश में स्थापित ब्लेड उत्पादन इकाई के दृष्टिगत, विंड परियोजनाओं हेतु प्रदेश सरकार को मध्यप्रदेश में ही निविदा आमंत्रित करने हेतु अनुरोध किया गया, जिससे प्रदेश में ही पवन ऊर्जा परियोजनाएं स्थापित हो सकें। स्प्रिंग एनर्जी द्वारा रीवा सौर पार्क की तर्ज पर विंड ऊर्जा पार्क विकसित किए जाने हेतु अनुरोध किया गया। वारी एनर्जी द्वारा प्रदेश में सौर ऊर्जा प्लांट लगाने हेतु रूचि दिखाई। सेरेंटिका तथा ब्ल्यू लीफ द्वारा प्रदेश में वर्तमान में किए गए निवेश की जानकारी दी गई एवं परियोजनाओं के विकास हेतु आवश्यक सहयोग की उम्मीद जताई।

मध्यप्रदेश “हार्ट ऑफ इनक्रेडिबल इंडिया”

इन्वेस्टर्स मीट में मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश “हार्ट ऑफ इनक्रेडिबल इंडिया” है। लगभग एक तिहाई वन क्षेत्र के साथ और नवकरणीय ऊर्जा में अग्रणी कार्य करते हुए मध्यप्रदेश “लंग्स ऑफ इनक्रेडिबल इंडिया” बनने का विजन रखता है। हम आगामी वर्षों में 20 हज़ार मेगावाट से ज्यादा नवकरणीय ऊर्जा का उत्पादन करेंगे और 2030 तक 50 प्रतिशत ऊर्जा नवकरणीय स्त्रोतों से लेंगे। मिशन मोड में वर्ष 2025 तक सभी शासकीय भवनों पर सोलर रूफटॉप लगाने का लक्ष्य है।

दिल्ली मेट्रो को बिजली दे रहा MP

मीट में सीएम यादव ने कहा कि मप्र नवकरणीय ऊर्जा पर काम कर रहा है। साल 2012 में नवकरणीय ऊर्जा की क्षमता 500 मेगावाट से भी कम थी। हमने अलग से विभाग का गठन कर नीतियों और विभिन्न प्रोत्साहन से 12 सालों में क्षमता को 14 गुना बढ़ाया है और 7 हजार मेगावॉट का लक्ष्य प्राप्त किया है। रीवा सौर परियोजना के अंतर्गत स्थापित सौर ऊर्जा पार्क से देश में पहली बार कोयला उत्पादित ऊर्जा से सस्ती सौर ऊर्जा उपलब्ध कराई गई है, इससे दिल्ली मेट्रो को बिजली दी गई। हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में इसे केस स्टडी के रूप में शामिल किया गया है।

आगर-शाजापुर-नीमच सौर परियोजना के नीमच सौर पार्क में बिजली का टैरिफ 2.14 रुपए प्रति यूनिट है, जो देश का न्यूनतम है। इस परियोजना से प्रदेश के साथ-साथ भारतीय रेलवे को भी बिजली सप्लाई हो रही है। आगर-शाजापुर-नीमच में 1500 मेगावाट क्षमता का सोलर पार्क निर्माणाधीन है।

 

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